पेशाब में शुगर के लक्षण एक नहीं अनेक होते है। जी हाँ , अगर आप भी शुगर की समस्या से पीड़ित है तो आप भी जानते होंगे की बार-बार पेशाब आना शुगर होने का एकलौता लक्षण नहीं है और अगर नहीं जानते तो हम आपको इसकी जानकारी इस लेख में दे रहे है।
बार-बार पेशाब आना, रात में बार-बार पेशाब आना, मूत्र का रिसाव आदि पेशाब में शुगर के लक्षणों में से कुछ है। हम यूरिन शुगर के लक्षण यानि पेशाब में शुगर के लक्षण कौन-२ से होते है और शुगर का ऐसा क्या प्रभाव पड़ता है जो हमारा शरीर पेशाब में यह लक्षण दिखाने लगता है और इससे बचने के लिए क्या-२ करना चाहिए, इन सब बातों के बारे में पूरी जानकारी आगे ले कर आये है।
शुगर क्यों होती है ?
शरीर में इन्सुलिन प्रतिरोध उत्पन्न होने पर इन्सुलिन अपना कार्य सही से नहीं कर पाते और इस इन्सुलिन प्रतिरोध का सामना करने के लिए पेन्क्रियास (अग्नाशय ) अधिक इन्सुलिन का उत्पादन करता है।
शरीर में जैसे-२ इन्सुलिन प्रतिरोध बढ़ता जाता है, शरीर में इन्सुलिन का उत्पादन भी बढ़ता जाता है और एक समय आने पर शरीर इस बड़े हुए इन्सुलिन प्रतिरोध का सामना नहीं कर पाता और इन्सुलिन प्रोडक्शन सिस्टम फेल हो जाता है जिस कारण रक्त में मौजूद शुगर को शरीर इस्तेमाल नहीं कर पाता और रक्त में शुगर की मात्रा बढ़ती जाती है।
इस स्तिथि को डायबिटीज, मधुमेह या शुगर के नाम से भी जाना जाता है। इस बीमारी के इलाज के लिए टेबलेट्स या इंजेक्शन के रूप में व्यक्ति को इन्सुलिन को अपने शरीर में डालना पड़ता है।
रक्त में शुगर की मात्रा बढ़ने के लक्षण शरीर में दिखने शुरू हो जाते है। जिन्हे सही समय पर पहचानकर परहेज और इलाज शुरू करके इस बीमारी पर नियंत्रण पा सकते है।
पेशाब में शुगर के लक्षण | यूरिन शुगर के लक्षण
शुगर की बीमारी का प्रभाव हमारे शरीर के सभी अंगो पर पड़ता है। जिस कारण शुगर बढ़ने के अनेक लक्षण हमारा शरीर दिखाना शुरू करता है। यूरिन शुगर के लक्षण उन्ही लक्षणों में से एक है।
टाइप 2 डायबिटीज से प्रभावित आधे से अधिक व्यक्तिओ में मूत्राशय की समस्याएं होती है। अध्ययनों से पता चला है कि इनमें से सबसे आम समस्याएं हैं:
- जब मूत्राशय की मांसपेशियां बहुत कम मूत्र होने पर भी ऐंठन या सिकुड़ती हैं। इससे बहुत कम मूत्र होने पर भी पेशाब करने की आवश्यकता महसूस होना।
- शरीर द्वारा मूत्र का अत्यधिक उत्पादन, आमतौर पर प्रति दिन 2.5 से 3.0 लीटर से अधिक
- रात में बार-बार पेशाब करने के लिए उठना
- मूत्र का रिसाव
पेशाब में शुगर के लक्षण के सामान्य कारण
पेशाब में शुगर के लक्षण के कुछ सामान्य कारण :-
पेशाब में शुगर | अधिक पेशाब आना
डायबिटीज के कारण रक्त में मौजूद अत्यधिक शुगर को निकालने के लिए शरीर के ऊतकों से तरल पदार्थ निकालता है। ऐसे में गुर्दे, जिनका काम खून को फ़िल्टर करना होता है, खून में मौजूद शुगर को उस तरल पदार्थ के साथ पेशाब के रास्ते शरीर से बाहर निकाल देते है। इस कारण शरीर में अधिक पेशाब तो बनता ही है साथ ही पेशाब के साथ शुगर भी निकलने लगती है। जो की पेशाब में शुगर के अत्यधिक बढ़ने का एक प्रमुख लक्षण है।
रात को बार बार पेशाब आना
रक्त में शुगर की मात्रा बढ़ जाने पर किडनी द्वारा इस अतिरिक्त शुगर को शरीर से बाहर करने के लिए अतिरिक्त पानी पेशाब के रूप में छोड़ा जाता है जो इस बड़ी हुई शुगर को शरीर से बाहर निकाल देता है। इन्सुलिन के सही से कार्य न करने के कारण किडनी को रक्त को फ़िल्टर करते समय यह कार्य बार-२ करना पड़ता है। जो शुगर के रोगी को रात को बार बार पेशाब आने का कारण बनता है।
नसों की कमजोरी है मूत्र का रिसाव का कारण
न केवल मूत्राशय की बल्कि पेशाब का रास्ता बंद करने और खोलने वाली नसों के कमजोर होने के कारण मूत्र का रिसाव होने लगता है। वह नली जिसके माध्यम से मूत्र शरीर से बाहर निकलता है, उसके कार्य को नियंत्रित करने वाली दो मांसपेशियों होती है। शुगर का प्रभाव इन नसों पर भी पड़ता है और इन नसों के कमजोर पड़ने पर यह नसे ठीक से काम नहीं कर पाती, जिस कारण न चाहते हुए भी मूत्र अनैच्छिक रूप से बाहर निकल सकता है।
पेशाब में प्रोटीन आना
एनआईडीडीके के अनुसार, मधुमेह वाले चार में से एक व्यक्ति को किडनी की बीमारी होती है, जिसे डायबिटिक नेफ्रोपैथी भी कहा जाता है। आपके मूत्र में कितना एल्ब्यूमिन (एक प्रकार का प्रोटीन) है, यह देखने के लिए एसीआर एक Urine Test है। पेशाब में इस प्रोटीन का उच्च मात्रा में होना गुर्दे की खराबी को दर्शाता है ।
पेशाब में चींटी लगना
पेशाब करने के बाद, पेशाब करने वाली जगह पर चीटीओ का आ जाना रक्त में शुगर की मात्रा बढ़ने के एक लक्षण है। जब डायबिटीज के कारण रक्त में मौजूद ग्लूकोस यानि शुगर का शरीर इस्तेमाल नहीं कर पाता और रक्त में ग्लूकोस की मात्रा काफी बढ़ जाती है। रक्त को फ़िल्टर करते समय यह ग्लूकोस किडनी द्वारा पेशाब में मिलाकर शरीर से बाहर निकाल दिया जाता है। पेशाब में चींटी लगना इसी कारण से भी होता है।
पेशाब में शुगर के लक्षण दिखने पर क्या करे
पेशाब में शुगर के लक्षण दिखने पर आपको तुरंत अपनी ब्लड शुगर की जाँच करवानी चाहिए और यदि इस जाँच में खाना खाने से पहले ब्लड में शुगर की मात्रा 70-130 mg/dl और खाने के 2 घंटे बाद 180 mg/dl से अधिक होती है तो अपने डॉक्टर या चिकित्सक से संपर्क करे क्योकि वह आपकी आयु और कुछ अन्य बातों को ध्यान में रखते हुए आपको आपके ब्लड में शुगर की स्तिथि की सही जानकारी दे पाएगा।
यूरिन शुगर का इलाज
साथ ही आपको तुरंत मधुमेह को नियंत्रण में रखने के उपाय अपनाने शुरू कर देने चाहिए। इसमें रक्त शर्करा और रक्तचाप को नियंत्रित करना, आहार प्रोटीन में कटौती करना और अपने चिकित्सक द्वारा निर्धारित दवा लेना शामिल है।
वास्तव में, इन उपायों को करने के साथ-साथ अन्य प्रमुख जीवनशैली में बदलाव जैसे वजन कम करना, शारीरिक गतिविधि बढ़ाना और धूम्रपान छोड़ना, टाइप 2 मधुमेह के कारण होने वाली सभी यूरिन की समस्याओं को रोकने और/या उनका इलाज करने में मदद कर सकता है।
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यूरिन में चींटी क्यों लगती है?
पेशाब करने के बाद, पेशाब करने वाली जगह पर चीटीओ का आ जाना रक्त में शुगर की मात्रा बढ़ने के एक लक्षण है। जब डायबिटीज के कारण रक्त में मौजूद ग्लूकोस यानि शुगर का शरीर इस्तेमाल नहीं कर पाता और रक्त में ग्लूकोस की मात्रा काफी बढ़ जाती है। रक्त को फ़िल्टर करते समय यह ग्लूकोस किडनी द्वारा पेशाब में मिलाकर शरीर से बाहर निकाल दिया जाता है। पेशाब में चींटी लगना इसी कारण से भी होता है।
शुगर होने का क्या कारण है?
शरीर में इन्सुलिन प्रतिरोध उत्पन्न होने पर इन्सुलिन अपना कार्य सही से नहीं कर पाते और शरीर में जैसे-२ इन्सुलिन प्रतिरोध बढ़ता जाता है, शरीर में इन्सुलिन का उत्पादन भी बढ़ता जाता है और एक समय आने पर शरीर इस बड़े हुए इन्सुलिन प्रतिरोध का सामना नहीं कर पाता और इन्सुलिन प्रोडक्शन सिस्टम फेल हो जाता है जिस कारण रक्त में मौजूद शुगर को शरीर इस्तेमाल नहीं कर पाता और रक्त में शुगर की मात्रा बढ़ती जाती है। इस स्तिथि को डायबिटीज, मधुमेह या शुगर के नाम से भी जाना जाता है।